
झांसी – कार्यक्रम में माननीय कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही, मुख्य अतिथि तथा माननीय कृषि राज्य मंत्री श्री बलदेव सिंह औलख तथा उद्यान राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दिनेश प्रताप सिंह, विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता कृषि उत्पादन आयुक्त श्री मनोज कुमार सिंह ने किया।
प्रदेश के 2 करोड़ 59 लाख किसानों को अब तक 47500 करोड़ से अधिक की धनराशि प्रदेश के भीतर किसानों को मिल चुका है। ये बातें कृषि मंत्री श्री सूर्य प्रताप शाही ने कृषि भवन के सभागार में आयोजित राज्य स्तरीय खरीफ़ कृषि उत्पादकता गोष्ठी में कही। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार एवं केंद्र सरकार द्वारा कृषकों के जीवन स्तर में सुधार हेतु निरंतर प्रयास कर रही है। कृषकों के आर्थिक उन्नयन हेतु कई कार्यक्रम संचालित किए जा रहे है। खरीफ़ 2022 में दलहन तिलहन और मोटे अनाजों में लगभग 6 लाख हेक्टर अतिरिक्त आच्छादन का लक्ष्य रखा गया है। प्रदेश में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के उद्देश्य से मास्टर ट्रैनेर्स तैयार किए जा रहे है। निकट भविष्य में विशेष गोष्ठियों के आयोजन की योजना बनाई जा रही है, जिससे प्रदेश के भीतर प्राकृतिक खेती को बढ़ावा मिलेगा।

कृषि राज्य मंत्री श्री बलदेव सिंह औलख ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा की राज्य सरकार कृषकों के कल्याण हेतु बहुत से कार्यक्रम संचालित कर रही है है। सरकार अपनी सुविधाओं की कृषकों के द्वार तक पहुँचाने के लिए दृढ़ संकल्पित है।
उद्यान राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दिनेश प्रताप सिंह ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि उद्यान विभाग की योजनाओं से समयबद्ध ढंग से प्रदेश के सभी कृषकों तक पहुँचाया जाएगा।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे कृषि उत्पादन आयुक्त श्री मनोज कुमार सिंह के द्वारा कृषि उत्पादन के लक्ष्य को प्राप्त करने के उद्देश्य कृषि, पशुपालन, उद्यान, गन्ना, रेशम, विद्युत, सिंचाई आदि विभागों के सही कोऑर्डिनेशन की अपेक्षा करते हुए बताया गया कि कृषि क्षेत्र में विभिन्न फसलों के आच्छादन, उत्पादन एवं उत्पादकता के आकलन के लिए एक योजना बनाई जा रही है जिससे आच्छादन, उत्पादन एवं उत्पादकता की सटीक जानकारी एकत्रित की जा सकेगी।
अपर मुख्य सचिव (कृषि) श्री देवेश चतुर्वेदी के द्वारा कृषि विभाग द्वारा अपनाए जा रहे नवीनतम

कार्यक्रमों के बारे में अवगत कराते हुए प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को सही प्रकार से लागू करने के
निर्देश दिए गए।
इस अवसर पर कृषि निदेशक उत्तर प्रदेश श्री विवेक कुमार सिंह ने उपस्थित अधिकारियों एवं कृषकों को संबोधित करते हुए कृषि उत्पादकता के लक्ष्य को प्राप्त करने हेतु कृषि विभाग द्वारा तैयार की गई रणनीति का विस्तृत प्रस्तुतिकरण किया गया।
प्रमुख सचिव सिंचाई के द्वारा प्रदेश में सिंचाई व्यवस्था तथा नहरों के संचालन आदि के संदर्भ में विभागीय रणनीति को बताया गया।
निदेशक उद्यान श्री तोमर जी द्वारा फसलों के विविधीकरण के महत्व को रेखांकित करते हुए उद्यान विभाग के कार्यक्रमों तथा उत्पादकता वृद्धि हेतु विभाग द्वारा तैयार रणनीति पर विचार व्यक्त किए गए।
निदेशक पशुपालन के द्वारा पशु की बीमारियों से सुरक्षा हेतु विभाग द्वारा संचालित टीकाकरण के बारे में बताया गया। साथ ही विभाग द्वारा संचालित अन्य योजनाओं के बारे में भी विस्तार से चर्चा की गई।
पद्मश्री कृषक श्री राम सरन वर्मा द्वारा कृषि विविधीकरण एवं झाँसी जनपद के प्रगतिशील कृषक श्री श्याम बिहारी गुप्ता द्वारा प्राकृतिक खेती सम्बन्धी अपने अनुभव कृषकों के मध्य साझा किया।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव उद्यान, प्रमुख सचिव सहकारिता, निदेशक मंडी, दुग्ध आयुक्त, महानिदेशक उपकार, सचिव उपकार अपर कृषि निदेशक (प्रसार), अपर कृषि निदेशक (भूमि संरक्षण), अपर कृषि निदेशक (सामान्य) जनपदों से कृषि विभाग के अधिकारियों सहित प्रगतिशील कृषकों द्वारा प्रतिभाग किया गया।
गोष्ठी में जनपद झांसी के उप निदेशक कृषि श्री के के सिंह सहित विभिन्न एफपीओ के निदेशकों ने प्रतिभाग किया।